“किसानों के आंदोलन के पीछे चीन और पाकिस्तान का हाथ है” वाले रावसाहेब दानवे के बयान पर संजय राउत बोले-करें सर्जिकल स्ट्राइक
आकाश ज्ञान वाटिका, 9 दिसम्बर 2020, बृहस्पतिवार। केंद्रीय मंत्री रावसाहेब दानवे के किसान आंदोलन के पीछे चीन और पाकिस्तान का हाथ होने वाले बयान पर शिवसेना नेता संजय राउत ने कहा अगर केंद्रीय मंत्री को यह जानकारी है कि किसानों के आंदोलन के पीछे चीन और पाकिस्तान का हाथ है तो रक्षा मंत्री को तुरंत चीन और पाकिस्तान पर सर्जिकल स्ट्राइक करनी चाहिए। राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, गृहमंत्री और सशस्त्र बल के प्रमुखों को इस मुद्दे पर गंभीरता से चर्चा करनी चाहिए।
ज्ञात रहे कि महाराष्ट्र के जालना जिले के बदनापुर तालुका में स्वास्थ्य केंद्र का उद्घाटन करने पहुंचे केंद्रीय मंत्री रावसाहेब दानवे ने कहा था कि कृषि कानूनों को वापस लिए जाने की मांग को लेकर जारी किसानों के विरोध प्रदर्शनों के पीछे चीन और पाकिस्तान का हाथ है। उनका ये भी कहना था कि इससे पहले संशोधित नागरिकता अधिनियम (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिक पंजीकरण (एनआरसी) को लेकर भी मुसलमान भाईयों को गुमराह किया गया था, लेकिन ये प्रयास असफल रहा। उसी प्रकार अब किसानों से कहा जा रहा है कि नए कानून से नुकसान होगा।
किसानों को गुमराह किया जा रहा है
केंद्रीय मंत्री रावसाहेब दानवे महाराष्ट्र के जालना जिले के बदनापुर तालुका में कोल्टे तकली स्थित एक स्वास्थ्य केंद्र का उद्घाटन करने के बाद ये बात कहीं। दानवे ने कहा यह आंदोलन किसानों का नहीं है इसके पीछे चीन और पाकिस्तान का हाथ है। इससे पहले जब मुसलमान भाईयों को भड़काया गया था तो उनसे कहा गया था कि एनआरसी आ रहा है, सीएए आ रहा है अब छ: माह के अंदर मुसलमानों को देश छोड़ना होगा। हालांकि यह प्रयास सफल नहीं हुआ, अब किसानों को गुमराह किया जा रहा है, उन्हें कहा जा रहा है कि इन सरकार द़वारा लागू किए गए इन तीन कानूनों से उन्हें नुकसान होगा। ये दूसरे देशों की साजिश है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी किसानों के प्रधानमंत्री हैं : केंद्रीय मंत्री दानवे
केंद्रीय मंत्री रावसाहेब दानवे ने हालांकि अपने इस बयान के विस्तार में कुछ नहीं बताया, किस आधार पर उन्होंने यह बड़ा बयान दिया, इसके बारे में भी कुछ पता नहीं चला। दानवे का कहना है कि किसान आंदोलन के पीछे दो पड़ोसी देश चीन और पाकिस्तान की साजिश है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी किसानों के प्रधानमंत्री हैं वो भला उनके खिलाफ कोई निर्णय कैसे ले सकते हैं।