आकाश ज्ञान वाटिका, शनिवार, 15 जून 2024, नई दिल्ली। दिल्ली हाईकोर्ट ने सुनीता केजरीवाल को फेसबुक और यूट्यूब जैसे सोशल मीडिया प्लेटफार्मों से 28 मार्च को हुई अदालती कार्यवाही के वीडियो पोस्ट और रीपोस्ट हटाने को लेकर नोटिस जारी किया है। हाई कोर्ट ने कोर्ट के वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग नियमों के उल्लंघन पर कार्रवाई करते हुए ये आदेश सख्ती के साथ दिया है। सुनीता केजरीवाल के खिलाफ ये मामला तब दर्ज हुआ जब सीएम केजरीवाल को पहली बार शराब नीति घोटाले के मामले में गिरफ्तारी होकर पुलिस की हिरासत में रहे थे।
सुनीता केजरीवाल ने जैसे ही इस पोस्ट को सोशल मीडिया पर शेयर किया था, उसके बाद से ही विपक्ष की तरफ से उन पर सवाल उठने लगे थे। जिसके बाद विपक्षी दलों की तरफ से कोर्ट में सीएम केजरीवाल की पत्नी के खिलाफ याचिका दर्ज की गई। इस याचिका में बताया गया कि सुनीता केजरीवाल ने अपने सोशल मीडिया हैंडल में कोर्ट की अदालती कार्यवाही की वीडियो को पोस्ट किया था। इस वीडियो में मुख्यमंत्री केजरीवाल अदालत में सबके सामने अपनी दलीले दे रहे थे। दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल ईडी पर उनकी पार्टी को कुचलने का आरोप लगा रहे थे।
कोर्ट की सुनवाई के दौरान सीएम केजरीवाल ने ईडी पर आरोप लगाए कि ईडी का सिर्फ एक ही मकसद था। इसके आगे उन्होंने कहा कि कोर्ट में केवल उन लोगों को दिखाया गया, जो केवल उनके खिलाफ थे।
दिल्ली की अदालती में कार्रवाई की रिकॉर्डिंग करने वालों और उसे सोशल मीडिया पर फैलाने वालों के खिलाफ BJP ने FIR दर्ज करने की अपील की थी। इसके आगे कोर्ट में कहा गया इस तरह के एक्शन से ट्रायल कोर्ट के जजों की जान को खतरा हो सकता है। सुनीता केजरीवाल के खिलाफ याचिका में उनकी, अक्षय मल्होत्रा, सोशल मीडिया यूजर नागरिक-इंडिया जीतेगा, प्रोमिला गुप्ता, विनीता जैन और डॉ. अरुणेश जैसे लोगो पर कार्रवाई की माँग की गई है।