एफआरआइ परिसर को लॉकडाउन कर दिया गया, करीब डेढ़ हजार लोग नहीं निकल पाएंगे बाहर
एफआरआइ परिसर स्थित इंदिरा गांधी राष्ट्रीय वन अकादमी (आइजीएनएफए) के दो और प्रशिक्षु अधिकारियों में कोरोना के संक्रमण की पुष्टि होने के बाद जिलाधिकारी ने करीब 1200 एकड़ में फैले पूरे एफआरआइ परिसर को लॉकडाउन करने के आदेश जारी कर दिए हैं। अब तक बाहरी लोगों के एफआरआइ परिसर में प्रवेश पर रोक थी, अब भीतर से भी कोई व्यक्ति बाहर नहीं आ पाएगा।
कोरोना वायरस के संक्रमण को पूरी तरह रोकने के लिए यह बड़ा कदम उठाया गया है। इस आदेश के बाद एफआरआइ परिसर में रह रहे लोग परेशान न हों, इसके लिए जिलाधिकारी डॉ. आशीष श्रीवास्तव ने आवश्यक वस्तुएं जैसे दूध, सब्जी व रोजमर्रा की सभी वस्तुओं की आपूर्ति सुनिश्चित करने का भरोसा दिलाया है।
लॉकडाउन क्षेत्र में एफआरआइ व आइजीएनएफए समेत भारतीय वानिकी अनुसंधान एवं शिक्षा परिषद, राज्य वन सेवा निदेशालय, एफआरआइ यूनिवर्सिटी के कार्मिक व उनके परिवार रहते हैं। स्वयं एफआरआइ निदेशक का आवास भी इसी परिसर में है। कुल मिलाकर 1500 से अधिक लोग, जो यहां निवास करते हैं, सभी डीएम के अग्रिम आदेश तक बाहर नहीं आ पाएंगे।
देहरादून के जिलाधिकारी ने कहा कि इस लॉकडाउन से डरने जैसी कोई बात नहीं है। सिर्फ एहतियात के तौर पर यह कदम उठाया गया है। ताकि यदि परिसर में रह रहे किसी भी व्यक्ति में संक्रमण की कुछ भी गुंजाइश हो तो उसे यहीं तक सीमित रखकर समुचित उपचार किया जा सके।
प्रशासन ने पहले भी सतर्कता बरतते हुए देहरादून में प्रवेश करते ही विदेश दौरे में शामिल सभी लोगों को निगरानी में रख लिया था। इसी का नतीजा है कि जिन अधिकारियों में संक्रमण की पुष्टि हुई है, वह संभवत: बाहर संपर्क न कर पाए हों।
जिलाधिकारी ने यहां रह रहे सभी लोगों से अपील की कि वह कुछ दिन धैर्य रखें और पूरा ख्याल रखें। उन्हें इस अवधि में किसी भी वस्तु के लिए परेशान नहीं होना पड़ेगा। आपस में मिलने जुलने में विशेष सावधानी बरती जाए।
सभी गेट लॉक किए जा रहे, पुलिसबल की भी तैनाती
लॉकडाउन को सुनिश्चित करने के लिए एफआरआइ क्षेत्र में प्रवेश के सभी मार्गों के गेट पर तालाबंदी की जा रही है। साथ ही इस व्यवस्था का पालन करने को पुलिसबल की तैनाती के भी आदेश कर दिए गए हैं।
लोगों की होगी क्लस्टर स्क्रीनिंग
एफआरआइ क्षेत्र को लॉकडाउन करने के साथ ही अब स्वास्थ्य विभाग ने यहां लोगों की क्लस्टर स्क्रीनिंग (समूह परीक्षण) की तैयारी भी शुरू कर दी है। स्वास्थ्य महानिदेशक डॉ. अमिता उप्रेती ने बताया कि देहरादून की मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ मीनाक्षी जोशी इसे तत्काल कराना सुनिश्चित करेंगी। उनके निर्देशन में चिकित्सा दल तत्काल प्रभाव से इस काम को शुरू कर देगा।
आइजीएनएफए प्रकरण पर सरकार सख्त
सरकार ने इंदिरा गांधी राष्ट्रीय वन अकादमी (आइजीएनएफए) के तीन अधिकारियों के कोरोना पॉजिटिव पाए जाने को गंभीरता से लिया है। मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह ने अकादमी के निदेशक से दूरभाष पर वार्ता कर परिसर में कोरोना वायरस से बचाव के उपायों का सख्ती से पालन करने की हिदायत दी। मुख्य सचिव ने प्रदेशवासियों को आश्वस्त किया है कि खाद्यान्न, तेल, सब्जियों, फल, पेट्रोल, डीजल समेत दैनिक आवश्यकता से जुड़ी सभी सामग्रियों और सेवाओं की भविष्य में भी सुचारू रखी जाएगी।
आइजीएनएफए में कोरोना के दो मामले पॉजिटिव मिले हैं। इस मामले में सामने आ चुकी विभागीय लापरवाही को लेकर मुख्य सचिव ने अकादमी के निदेशक से कहा कि परिसर में कोरोना से बचाव के उपायों को सख्ती से लागू किया जाएगा। साथ ही चिकित्सकों की सलाह और सुझावों का परिसर में अनुपालन कराया जाए। मुख्य सचिव ने बताया कि निदेशक ने सहयोग का भरोसा दिया है।
उधर, मुख्य सचिव ने प्रदेशवासियों को भरोसा दिया कि दैनिक जरूरत के सामान और आवश्यक सेवाओं पानी, बिजली, स्वास्थ्य, सफाई को सुचारू रूप से उपलब्ध कराया जा रहा है। भविष्य में भी इसे निर्बाध रखा जाएगा। उन्होंने समस्त नागरिकों से भीड़-भाड़ वाले स्थानों से बचने, अनावश्यक यात्रओं से बचने, सामाजिक दूरी बनाए बनाए रखने और सरकार की ओर से जारी गाइडलाइन का पालन करने की अपील की है। उन्होंने अधिक जानकारी के लिए राज्य सरकार के हेल्पलाइन नंबर 104 व 1800-180-1200 पर संपर्क करने को भी कहा है।
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