समाज के प्रति कर्तव्यनिष्ठा की मिसाल पेश की, युवा पत्रकार एवं समाजसेवी आशीष नेगी ने : गरीब बच्चों के साथ मनाया अपना 35वाँ जन्मदिन
[box type=”shadow” ]अच्छी सोच को सलाम :
- अगर हर इंसान किसी एक भूखे को रोज भोजन उपलब्ध कराने का संकल्प ले तो हमारे देश में कोई भी भूखा नहीं सोएगा।
- गरीब बच्चों के साथ मनाया पत्रकार व समाजसेवी आशीष नेगी ने अपना जन्मदिन।
- गरीब बच्चों के लिए देवदूत से कम नहीं हैं “अपने सपने” संस्था के संस्थापक अरुण कुमार यादव।
- अरुण कुमार लॉक डाउन के शुरुआत समय से आज तक “मैं हूँ ना…” मुहीम चलते आ रहे हैं।
- हम सबके रोल मॉडल हैं अरुण यादव।
: युवा पत्रकार एवं समाजसेवी आशीष नेगी[/box]
आकाश ज्ञान वाटिका, शुक्रवार, 18 दिसम्बर 2020, देहरादून। युवा पत्रकार व समाजसेवी आशीष नेगी ने अपना 35 वाँ जन्मदिन “अपने सपने” संस्था से जुड़े गरीब बच्चों के साथ मनाया। आशीष नेगी ने बच्चों को शिक्षा के प्रति प्रोत्साहित करते हुए कॉफी, पेंसिल व अन्य सामान भेंट किया।
आशीष नेगी ने कहा कि उन्होंने बचपन से ही माँ-बाप के आदर्श पर चलना सीखा है। माँ-बाप का सपना था कि गरीब व असहाय लोगों की हमेशा मदद करनी चाहिए। उनके आशीर्वाद से आज मैने अपना जन्मदिन उन गरीब बच्चों के साथ मनाया है। आशीष नेगी मासूम बच्चों के साथ बातचीत करते हुए काफी भावुक भी दिखाई दिए।
आशीष नेगी ने कहा, “बच्चों ने उनका जन्मदिन यादगार बना दिया।” आशीष नेगी ने कहा जरूरतमंदों की मदद और भूखे लोगों को भोजन उपलब्ध कराने में जो सुकून मिलता है, वह और कहीं नहीं मिल सकता। उन्होंने कहा कि मेरा भी सपना है कि इन बच्चों का भी जन्मदिन इसी तरह मनाया जायेगा जैसा की सभी लोग अपने परिवार के साथ मनाते हैं। आशीष नेगी ने कहा कि वह एक ग्रुप बना रहे हैं जिसमे ऐसे युवाओं को जोड़ा जायेगा जिनकी सोच गरीबों की मदद करने की हो।
आशीष नेगी ने कहा कि अगर हर इंसान किसी एक भूखे को रोज भोजन उपलब्ध कराने का संकल्प ले तो हमारे देश में कोई भी भूखा नहीं सोएगा।
इस मौके पर उनके मित्र जगमोहन मौर्य भी मौजूद रहे।[/box]
[box type=”shadow” ]हम सबके रोल मॉडल हैं अरुण कुमार यादव
आशीष नेगी ने अपने-सपने संस्था के संस्थापक अरुण यादव की तारीफ करते हुए उन्हें युवाओं का रोल मॉडल बताया। आशीष नेगी ने कहा कि अरुण यादव जिस तरह गरीब बच्चों को शिक्षित करने में जुटे हुए हैं वह काबिले तारीफ है। यही नहीं अरुण यादव हमेशा जरूरतमंदों की मद्दत में आगे रहते हैं। लॉकडाउन में उन्होंने अपने परिवार के साथ मिलकर जरूरमदों तक राशन पहुँचाया। वह हम सबके लिए प्रेरणाप्रद है। जितना भी मेरे से हो सकेगा में उनकी मद्दत के लिए तैयार रहूँगा।[/box]
[box type=”shadow” ]गरीब बच्चों के लिए देवदूत से कम नहीं हैं “अपने सपने” संस्था के संस्थापक अरुण कुमार यादव
जरूरमंद बच्चों के शिक्षा के प्रति अपना जीवन समर्पित करने वाले “अपने सपने” एनजीओ के संस्थापक अध्यक्ष अरुण कुमार यादव विगत 13 वर्षों से स्वयं ऐसे बच्चों को शिक्षित करने में लगे हैं। आज से 6 साल पहले उन्होंने “अपने सपने” नाम से जो एनजीओ स्थापित किया, उसे उन्होंने आज यह पौधे से बरगद रूपी विशाल का पेड़ रूप में स्थापित कर लिया है।[/box]
उत्तरप्रदेश के जिले जौनपुर के केराकत तहसील में जन्मे अरुण कुमार यादव सन 2001 में देहरादून में तकनीकी शिक्षा ग्रहण करने आये। वक्त दर वक्त तब से यानी 19 सालों से अब देहरादून को अपनी कर्म भूमि बनाने वाले अरुण कुमार यादव, जहाँ अब पत्रकारिता के क्षेत्र में अपनी अलग पहचान बना चुके हैं वही जरूरतमंद बच्चों के सपनों को अपना सपना बना चुके हैं।
[box type=”shadow” ]2 सितम्बर 2014 को स्थापित हुए “अपने सपने” संस्था के संस्थापक अध्यक्ष अरुण कुमार यादव ने बताया कि अपने सपने एनजीओ विगत छः वर्षों से देहरादून में असहाय एवम जरूरतमंद बच्चों की जीवन शैली एवम उनकी शिक्षा पर कार्य करता आ रहा है। अपने सपने एनजीओ वर्तमान समय में 140 से अधिक बच्चों की पढ़ाई और सामाजिक उत्थान में कार्यरत है। एनजीओ द्वारा बहुत से बच्चों के लिए अधिकाधिक प्रसंशनीय कार्य किये गए जिसमें निम्नलिखित सराहनीय कार्यों को समाज में सबसे ज्यादा प्रोत्साहन मिला:
- अजय नामक बच्चा जो आज से पाँच साल पहले सड़कों पर कूड़ा बीनता था। संस्था द्वारा उसको स्कूल में दाखिला दिलवाया गया, वर्तमान समय में अजय ने प्राथमिक विद्यालय भारूवाला ग्रांट, सुभाषनगर, देहरादून में अपने कक्षा पाँचवी में प्रथम स्थान प्राप्त किया। इस वर्ष अजय छठी कक्षा में दून एकेडमी स्कूल में अपनी पढ़ाई को आगे बढ़ा रहा है। इस वर्ष 2020 में भी अजय ने प्रथम स्थान प्राप्त किया। संस्था द्वारा किये जा रहे इस बदलाव रूपी कार्य से अब यह अजय अन्य ऐसे बच्चों के लिए प्रेणास्रोत बना ।
- सिमरन नामक मासूम बच्ची 2 साल पहले न बोलने के कारण स्कूल में दाखिला प्राप्त नहीं ले पाई। अपने सपने एनजीओ के सदस्यों द्वारा सिमरन बच्ची के आत्मविश्वास में बदलाव कर उसको पढ़ाई, नृत्य और गायन सीखाकर उसका आत्मविश्वास बढ़ाया गया। वर्तमान समय में अब यही सिमरन उसी स्कूल में जहाँ पर दाखिला प्राप्त नहीं कर पायी थी, अब सातवीं कक्षा में अपनी शिक्षा रुपी अलख जगा रही है।
- मनीषा नामक बच्ची जो किसी समय लोगों के घरों में साफ़-सफाई करने जाती थी, संस्था के सदस्यों द्वारा एक बदलाव रूपी प्रयास से अब वही मनीषा वर्तमान समय में पढ़ाई के साथ साथ कंप्यूटर शिक्षा प्राप्त कर, वर्तमान समय में एक हिंदी समाचार पत्र के लिए हिंदी लेखनी का कार्य कर रही है। अब पढ़ाई के साथ साथ मनीषा शिक्षा के माध्यम से अपने परिवार की आर्थिक मदद प्रदान कर रही है। वर्तमान में मनीषा ने 10वीं की परीक्षा परिणाम में प्रथम स्थान भी प्राप्त किया।[/box]
इन्ही बच्चों रूपी सामाजिक बदलाव के क्रम में अपने सपने संस्था फेस टू फेस नामक अभियान शुरू किया है, जिनमें पहले अभियान के तहत देहरादून के बिंदाल पुल के नीचे स्थित मलिन बस्तियों के बच्चों की शारीरिक स्वच्छता के साथ ही उनके वेष -भूषा में बदलाव लाया गया। वार्ता के दौरान उन्होंने कहा यह अभियान दूसरे चरण में अन्य मलिन बस्तियों की ओर रुख करेगा। इस अभियान के तहत उन बच्चों के परिवार को ईनाम स्वरूप 1000 रुपये की धनराशि प्रदान की जाएगी जो परिवार अपने बच्चों को निरन्तर उनके शारीरिक स्वच्छता व वेष-भूषा में बदलाव स्थिर रखे रहेंगे। संस्था इस अभियान के तहत यह प्रयास करेगी कि मलिन बस्तियों के बच्चों में स्वच्छता एवम स्वास्थ्य के प्रति एक अच्छा बदलाव आ सके, जिससे समाज उनको अपना सके। संस्था इन सभी अभियान के साथ भूख से राहत दिलाने हेतु “हर पेट मे रोटी” नामक अभियान चला रही है। जागरूकता के तहत लोगों को खाना बर्बाद नहीं कर असहाय एवम जरूरतमंद लोगों को खाना खिलाने की अपील करती आ रही है। साथ ही संस्था के सदस्य देहरादून के कुछ रेस्टोरेंट एवम हॉस्टलों से बचे हुए खाने को एकत्रित कर सड़क के फुटपाथ पर जरूरतमंद भूखे सो रहे लोगों को खाना खिलाने का कार्य करते आ रहे हैं। संस्था द्वारा जरूरतमंद बच्चों को खेल रूपी गुण भी सिखाया जाता है, जिससे उनके प्रतिभा को आगे बढ़ाया जा सके। इसके साथ-साथ ‘अपने सपने’ संस्था “मुस्कान” नाम से प्रत्येक माह के अंतिम रविवार को संस्था के उन जरूरतमन्द बच्चों का जन्मदिन भी मनाता है जिन बच्चों का जन्मदिन उस माह होते हैं। उस दिन जन्मदिन के सभी कार्यक्रम इन जरूरतमन्द बच्चों के लिए संस्था द्वारा किये जाते हैं।
[box type=”shadow” ]लॉक डाउन के समय में अरुण कुमार यादव की सराहनीय पहल:
अरुण कुमार लॉक डाउन के शुरुआत समय से आज तक “मैं हूँ ना…” मुहीम चलाते आ रहे हैं:
“मैं हूँ ना…” अभियान के तहत जरूरतमंद 2100 परिवारों को राशन वितरण कर उनके संकट को दूर करने का प्रयास संस्था द्वारा किया गया है। अपने सपने संस्था द्वारा देहरादून के सुभाषनगर, ओगल भट्टा, टर्नर रोड, कावली रोड, मद्रासी कॉलोनी, पटेलनगर, मोहब्बेवाला आदि क्षेत्रों में दिव्यांगों, बुजुर्गों, मजदूरों, छात्रों आदि को राशन (आटा, चावल, रिफाइंड तेल) प्रदान कर, इस कोरोना महामारी की संकट की घड़ी में उनके लिए मदद का हाथ बढ़ाया गया। अपने सपने संस्था जरूरतमंद बच्चों के शिक्षा को सुचारू रूप से, नए सत्र में आगे की पढ़ाई के प्रति कुछ अभ्यास कर सके, इसके लिए उनको संस्था द्वारा कापियाँ किताबें प्रदान की गई। लॉकडाउन के कारण इस समय अनेक प्राईवेट स्कूलों में ऑनलाइन द्वारा पढ़ाई कराई जा रही है, वही यह जरूरतमंद बच्चे इस समय उनके पास इस तरह की सुविधायें न होने के कारण पठन पाठन से वंचित न हों इसके लिए अपने सपने संस्था के संस्थापक अरुण कुमार यादव ने सभी ऐसे बच्चों को पुरानी किताबों को एक दूसरे से अदान प्रदान करने के साथ नई कापियाँ दी गई। संस्था के ऐसे 140 बच्चों को कापियाँ प्रदान की गई, साथ ही इन बच्चों की शिक्षा रुके नहीं, उसके लिए अपने सपने संस्था उन बच्चों के पास जाकर उनको शिक्षा भी प्रदान कर रही है।[/box]
“कहीं पैरों में छाले न पड़ जाए….”
संस्था द्वारा सड़क पर नंगे पाँव चल रहे मजदूरों एवं जरूरतमंद बच्चों, महिलाओं को नए चप्पलें प्रदान की गई। टर्नर रोड एवं आईएसबीटी आदि स्थानों पर जो इतने तपते धूप में बिना चप्पलों के सड़क पर नंगे पाँव चल रहे मजदूरों एवं जरूरतमंद बच्चों, महिलाओं को संस्था द्वारा नई चप्पलें प्रदान की गई। अरुण कुमार यादव ने “कहीं पैरों में छाले न पड़ जाए….” अभियान के तहत आज इस तपते धूप में बिना चप्पलों के रोड पर चल रहे मजदूरों एवं जरूरतमंद बच्चों, महिलाओं को नई चप्पलें प्रदान कर उनका हौसला बढ़ाने का पुनीत कार्य किया है।
[box type=”shadow” ][highlight]“आकाश ज्ञान वाटिका” टीम की ओर से समाज सेवी एवं युवा पत्रकार आशीष नेगी को उनके 35वें जन्मदिन पर हार्दिक शुभकामनायें एवं बहुत बहुत बधाई” :[/highlight] घनश्याम चन्द्र जोशी, सम्पादक [/box]
[box type=”shadow” ]अगर आप भी गरीब बच्चों की किसी भी प्रकार की मद्दत करना चाहें तो सम्पर्क कर सकते हैं।
[highlight]अरुण कुमार यादव, संस्थापक /अध्यक्ष, “अपने सपने” एनजीओ, देहरादून (उत्तराखंड)
मोबाइल : 9411715345[/highlight][/box]