Breaking News :
>>पब्लिक रिलेशन सोसायटी ऑफ इंडिया देहरादून चैप्टर के प्रतिनिधिमंडल ने डीजी सूचना से की शिष्टाचार भेंट>>छिद्दरवाला में तीन पुलिया के निकट मिला युवती का शव, आयोग की अध्यक्ष ने लिया संज्ञान>>अच्छी खबर :- कार्डियोलॉजिस्ट व कैथ लैब टेक्नीशियन के पांच पदों पर होगी नियुक्ति>>राम का विरोध करना सपा और कांग्रेस का इतिहास – मुख्यमंत्री योगी >>आईपीएल 2024 के 55वें मैच में आज मुंबई इंडियंस और सनराइजर्स हैदराबाद होगी आमने- सामने >>पीएम मोदी को आरक्षण की अधिकतम सीमा 50 प्रतिशत से बढ़ाने की दी चुनौती, सत्ता में आते ही समाप्त करने का किया ऐलान>>खेतों में फसल कटाई के बाद अवशेषों को जलाने पर लगी रोक, मुख्यमंत्री धामी ने दिए ये निर्देश >>बैकलेस आउटफिट पहन अवनीत कौर ने शेयर किया हॉट लुक>>चीन सीमा क्षेत्र में सेना की आवाजाही हो जाएगी आसान, सिर्फ 80 किमी की रह जाएगी दूरी >>त्वचा को हाइड्रेट रखने में कारगर है यह जूस, रोजाना सेवन करने से होंगे अनेक फायदे>>उत्तराखंड में जंगल की आग ने बरपाया कहर, लेकिन पेड़ों को नहीं पहुंचा कोई नुकसान, हैरत में पड़े अधिकारी  >>बदायूं के रोड शो में मुख्यमंत्री धामी ने की भाजपा को जिताने की अपील>>तबाही ला सकती हैं ग्लेशियर झीलें>>पीआरएसआई देहरादून चैप्टर के अध्यक्ष बने रवि बिजारनिया>>PHYSICS : PHYSICAL QUANTITIES AND MEASUREMENT>>रणवीर सिंह के हाथ लगा बड़ा प्रोजेक्ट, साउथ इंडस्ट्री के ब्लॉकबस्टर डायरेक्टर प्रशांत वर्मा संग करेंगे ‘राक्षस’>>भाजपा का संकल्प पत्र भारत को विकसित राष्ट्र बनाने की गारंटी : महाराज>>आगामी चारधाम यात्रा के निर्विघ्न संचालन के लिए आयोजित सुन्दरकाण्ड पाठ कार्यक्रम में कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने किया प्रतिभाग>>प्रधानमंत्री मोदी आज रामलला के दर्शन कर शुरू करेंगे रोड शो, मुख्यमंत्री योगी भी होंगे शामिल >>केदारनाथ डोली यात्रा के साथ चलने वाले 300 सेवादारों की टीम को हरी झण्डी दिखाकर किया गया रवाना 
Articles

सेहत में बड़ा सहारा, पैंसठ वर्ष से अधिक आयु के लोगों को भी स्वास्थ्य बीमा

साभार : मनोज भूटानी
आकाश ज्ञान वाटिका, शुक्रवार, 26 अप्रैल 2024, देहरादून। गंभीर और ऐसी बीमारियों, जिनके इलाज में भारी रकम खर्च करनी पड़ती है, स्वास्थ्य बीमा लोगों के लिए बहुत बड़ा सहारा साबित होता है। स्वास्थ्य बीमा शुरू करने का मकसद भी यही था कि लोगों को स्वास्थ्य पर होने वाले खर्च की चिंता से मुक्त रखा जा सके। मगर इसमें एक बड़ी अड़चन थी कि पैंसठ वर्ष से अधिक उम्र के लोग स्वास्थ्य बीमा नहीं खरीद सकते थे। आमतौर पर ज्यादातर लोगों को इसी उम्र के बाद स्वास्थ्य संबंधी परेशानियां घेरती हैं।

मगर स्वास्थ्य बीमा न खरीद पाने के चलते वे निराश हो जाते थे। फिर, कैंसर, हृदय रोग या एड्स जैसी कुछ गंभीर बीमारियों से ग्रस्त लोगों को इसकी सुविधा उपलब्ध नहीं थी। इसके अलावा, स्वास्थ्य बीमा खरीदने के बाद अड़तालीस महीने तक उसका लाभ नहीं उठाया जा सकता था। अब भारतीय बीमा विनियामक एवं विकास प्राधिकरण ने इन अड़चनों को दूर करते हुए नियम जारी किया है कि पैंसठ वर्ष से अधिक आयु के लोग भी स्वास्थ्य बीमा खरीद सकेंगे। यानी अब किसी भी उम्र में स्वास्थ्य बीमा खरीदा जा सकता है। बीमा कंपनियां अब कैंसर, एड्स और हृदय रोग जैसी बीमारियों की वजह से किसी को बीमा देने से इनकार नहीं कर सकतीं। बीमा खरीदने के छत्तीस महीने बाद उसका लाभ उठाया जा सकेगा।

बीमा क्षेत्र को विस्तार देने और प्रतिस्पर्धी बनाने के मकसद से इस क्षेत्र में निजी बैंकों और विदेशी कंपनियों के लिए सौ फीसद निवेश का रास्ता खोला गया था। फिर बीमा कंपनी बदलने की भी छूट दे दी गई थी। निस्संदेह इससे बीमा कंपनियों में प्रतिस्पर्धा बढ़ी और लोगों को इसका लाभ मिलना भी शुरू हो गया। मगर स्वास्थ्य बीमा के मामले में कई तरह की अड़चनें बनी हुई थीं। उम्र और कुछ गंभीर बीमारियां इस रास्ते में बड़ी बाधा थीं। अब उनके हट जाने से निस्संदेह बहुत सारे लोगों के लिए आसानी हो जाएगी।

अब जिस तरह जलवायु परिवर्तन और बदलती स्थितियों के चलते अनेक प्रकार की नई-नई बीमारियां पैदा हो रही हैं और बहुत सारे लोगों के लिए इलाज कराना मुश्किल होता जा रहा है, उसमें बीमा कंपनियों का वृद्धावस्था की ओर बढ़ती आबादी को इस सुविधा से वंचित रखना उचित नहीं था। दुनिया के अनेक देशों में वृद्धों की सेहत पर विशेष ध्यान दिया जाता है, मगर जिस तरह हमारे देश में सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवाओं पर बोझ और उनमें सुविधाओं का अभाव बढ़ता गया है, उसमें बुजुर्ग आबादी की सेहत का ध्यान रखना चुनौती बनता गया है।

ऐसे में स्वास्थ्य बीमा की शर्तों को लचीला बनाने से कुछ बेहतर नतीजे मिल सकते हैं। मगर अब भी स्वास्थ्य बीमा योजनाओं को पुख्ता, पारदर्शी और प्रभावशाली बनाने की जरूरत रेखांकित की जाती रहती है। केंद्र सरकार ने आयुष्मान योजना के तहत करोड़ों लोगों को स्वास्थ्य बीमा की सुविधा उपलब्ध करा रखी है। कुछ लोग कंपनियों आदि की सामूहिक बीमा के अंतर्गत आते हैं। कुछ लोगों ने निजी स्तर पर स्वास्थ्य बीमा ले रखा है। मगर चूंकि स्वास्थ्य बीमा की सुविधा का लाभ निजी अस्पतालों में ही लिया जाता है, वहां इनके दावे आदि को लेकर कई तरह की अनियमितताओं की शिकायतें मिलती रहती हैं। कोरोना काल के बाद स्वास्थ्य बीमा की वार्षिक किस्तें पचास फीसद से अधिक बढ़ चुकी हैं। इसलिए स्वास्थ्य बीमा नियमों को लचीला बनाने के साथ-साथ इन्हें व्यावहारिक और पारदर्शी बनाने की दिशा में भी भरोसेमंद कदम उठाने की जरूरत है।

Loading

Ghanshyam Chandra Joshi

AKASH GYAN VATIKA (www.akashgyanvatika.com) is one of the leading and fastest going web news portal which provides latest information about the Political, Social, Environmental, entertainment, sports etc. I, GHANSHYAM CHANDRA JOSHI, EDITOR, AKASH GYAN VATIKA provide news and articles about the abovementioned subject and am also provide latest/current state/national/international news on various subject.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *